जहाँ नेमी के चरण पड़े, गिरनार वो धरती है…Jain Bhajan

Shri Neminath Chalisa

तर्ज – ऐ मेरे दिले नादान, तू गम से न घबराना जहाँ नेमी के चरण पड़े, गिरनार वो धरती है वो प्रेम मूर्ती राजूल, उस पथ पर चलती है उस कोमल काया पर, हल्दी का रंग चढ़ा मेहंदी भी रुचीर रची, गले मंगल सुत्र पड़ा पर मांग ना भर पायी, ये बात ही खलती है … Read more