श्री शंभवनाथ जिन पूजा 2022 || New Shri Sambhavnath Jin Pooja

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सखी छन्द शंभव जिन शिव सुख पाये, संभव सम्यक् भव भाये। ग्रैवेयक से तुम आये, तीर्थंकर पितु हरषाये॥ मैं करूँ प्रभो आह्वानन, स्वीकारो मम उर आसन। नहिं तुम बिन कोई सहारा, कर दो उद्धार हमारा॥ ओं ह्रीं तीर्थंकरशंभवनाथजिनेन्द्र ! अत्र अवतर अवतर संवौषट् आह्वाननम् ! अत्र तिष्ठ तिष्ठ ठः ठः स्थापनम्। अत्र मम सन्निहितो भव … Read more